भारतीय संविधान, Indian Constitution, भारतीय संविधान की संक्षिप्त अध्ययन, Indian Constitution In Hindi, भारतीय संविधान की प्रस्तावना

भारतीय संविधान, Indian Constitution, भारतीय संविधान की संक्षिप्त अध्ययन, Indian Constitution In Hindi, भारतीय संविधान की प्रस्तावना

भारतीय संविधान Indian Constitution

भारतीय संविधान की प्रस्तावना

हम भारत के लोग, भारत को एक सम्पूर्ण प्रभुत्व सम्पन्न, समाजवादी , धर्मनिरपेक्ष,लोकतंत्रात्मक गणराज्य बनाने के लिए तथा उसके समस्त नागरिकों को सामाजिक, आर्थिक और राजनीतिक न्याय, विचार, अभिव्यक्ति, विश्वास, धर्म और उपासना की स्वतंत्रता, प्रतिष्ठा और अवसर की समता प्राप्त करने के लिए तथा उन सबमें व्यक्ति की गरिमा और राष्ट्र की एकता और अखण्डता सुनिश्चित करनेवाली बंधुता बढ़ाने के लिए दृढ संकल्प होकर अपनी इस संविधान सभा में आज तारीख 26 नवम्बर 1949 ई0 (मिति मार्ग शीर्ष शुक्ल सप्तमी, सम्वत् दो हजार छह विक्रमी) को एतदद्वारा इस संविधान को अंगीकृत, अधिनियमित और आत्मार्पित करते हैं।
  • संविधान की प्रस्तावना 13 दिसम्बर 1946 को जवाहर लाल नेहरू द्वारा पास की गयी प्रस्तावना को आमुख भी कहते हैं।


भारतीय संविधान का विस्तृत अध्ययन

  • संविधान निर्माण की सर्वप्रथम मांग बाल गंगाधर तिलक द्वारा 1895 में "स्वराज विधेयक" द्वारा की गई।
  • आजादी मिलते ही देश को चलाने के लिए संविधान बनाने की दिशा में काम शुरू कर दिया गया। इसी कड़ी में 29 अगस्त 1947 को भारतीय संविधान के निर्माण के लिए प्रारूप समिति की स्थापना की गई और इसके अध्यक्ष के रूप में डॉ. भीमराव अंबेडकर को जिम्मेदारी सौंपी गई। 
  • दुनिया भर के तमाम संविधानों को बारीकी से परखने के बाद डॉ. अंबेडकर ने भारतीय संविधान का मसौदा तैयार कर लिया। 
  • 26 नवंबर 1949 को इसे भारतीय संविधान सभा के समक्ष लाया गया। इसी दिन संविधान सभा ने इसे अपना लिया। 
  • यही वजह है कि देश में हर साल 26 नवंबर को संविधान दिवस के रूप में मनाया जाता है।
  • 9 दिसम्बर 1946 को संविधान सभा की पहली बैठक हुई। जिसमें अस्थायी अध्यक्ष सच्चिदानन्द सिन्हा को बनाया गया।
  • दुसरी बैठक 11 दिसम्बर 1946 को हुई। जिसमें स्थायी अघ्यक्ष डां. राजेन्द्र प्रसाद को बनाया गया। इसी बैठक में उपाध्यक्ष एच. सी. मुखर्जी थे तथा सवैधानिक सलाहकार बी. एन. राव थे।
  • तीसरी बैठक 13 दिसम्बर 1946 को बुलाई गई, जिसमें नेहरू जी द्वारा 'उदे्देश्य प्रस्ताव' पेश किया गया। जिसे संविधान सभा ने 22 जनवरी 1947 को अपना लिया। इन्ही उद्देश्य प्रस्तावों के आधार पर भारतीय संविधान की प्रस्तावना निर्मित की गई।

संविधान सभा द्वारा संविधान निर्माण हेतु कुछ समितियों का गठन किया गया जो निम्न प्रकार थी

    समिति                                                                   अध्यक्ष
1 संघ शक्त् समिति                                                जवाहर लाल नेहरू
2 संविधान समिति                                                  जवाहर लाल नेहरू
3 राज्यों के लिए समिति                                          जवाहर लाल नेहरू
4 राज्यों तथा रियासतों से परामर्श समिति                 सरदार पटेल
5 मौलिक अधिकार एवं अल्पसंख्यक समिति            सरदार पटेल
6 प्रान्तीय संविधान समिति                                       सरदार पटेल
7 मौलिक अधिकारों पर उपसमिती                          जे. बी. कृपलानी
8 झण्डा समिति अध्यक्ष                                           जे. बी. कृपलानी
9 प्रक्रिया नियम समिति(संचालन)                            राजेद्र प्रसाद
10 सर्वोच्च न्यायलय से संबधित समिति                     एस. एच. वर्धाचारियर
11 प्रारूप संविधान का परीक्षण करने वाली समिति  अल्लादी कृष्णा स्वामी अरयर
12 प्रारूप समिति/ड्राफटिंग/मसौदा समिति             डा. भीमराव अम्बेडकर
13 संविधान समीक्षा आयोग                                    एम एन बैक्टाचेलेया


➦ भारतीय संविधान के स्रोत Sources of Indian Constitution 

प्रारूप समिति के 7 सदस्य निम्न थे

  1. डाॅ. बी. आर. अम्बेडकर
  2. अल्लादी कृष्णा स्वामी अयंगर
  3. एन. गोपाल स्वामी अयंगर
  4. कन्हैयालाल माणिक्यलाल मुशी
  5. एन. माधवराज -यह बी. एल. मित्तल के स्थान पर आये थे।
  6. टी. टी. कृष्णामाचारी - यह डी. पी. खेतान के स्थान पर आये थे।
  7. मोहम्मद सादुल्ला
  • प्रारूप समिति 29 अगस्त 1947 को गठित की गई थी।
  • संविधान सभा में पहली बैठक क अन्तर्गत 207 सदस्यों ने भाग लिया।
  • संविधान सभा में कुल 15 महिलाओं ने भाग लिया। तथा 8 महिलाओं ने संविधान पर हस्ताक्षर किए
  • भारतीय संविधान में वर्तमान समय में 395 अनुच्छेद, तथा 12 अनुसूचियां हैं और ये 22 भागों में विभाजित है। परन्तु इसके निर्माण के समय मूल संविधान में 395 अनुच्छेद जो 22 भागों में विभाजित थे इसमें केवल 8 अनुसूचियां थीं।
  • मंत्रिपरिषद सामूहिक रूप से लोगों के सदन (लोक सभा) के प्रति उत्तरदायी है। 
  • प्रत्‍येक राज्‍य में एक विधानसभा है। जम्मू और कश्मीर, उत्तर प्रदेश, बिहार, महाराष्ट्र, कर्नाटक,आंध्रप्रदेश और तेलंगाना में एक ऊपरी सदन है जिसे विधानपरिषद कहा जाता है।
  • राज्‍यपाल राज्‍य का प्रमुख है। प्रत्‍येक राज्‍य का एक राज्‍यपाल होगा तथा राज्‍य की कार्यकारी शक्ति उसमें निहित होगी। 
  • मंत्रिपरिषद, जिसका प्रमुख मुख्‍यमंत्री है, राज्‍यपाल को उसके कार्यकारी कार्यों के निष्‍पादन में सलाह देती है।
  • राज्‍य की मंत्रिपरिषद् सामूहिक रूप से राज्‍य की विधान सभा के प्रति उत्तरदायी है।
  • सम्पुर्ण संविधान 26 जनवरी 1950 को लागू किया गया। लेकिन लागु करने से पूर्व 24 जनवरी 1950 को अन्तिम बैठक बुलाई गई। जिसमें डाॅ. राजेन्द्र प्रसाद को भारत का राष्ट्रपति चुना गया तथा राष्ट्रीय गीत और राष्ट्रगान को अपनाया गया।
  • राष्ट्रगान:- रविन्द्र नाथ टैगोर - पहली बार 1911 के कोलकत्ता अधिवेशन में गाया गया। अवधि लगभग 52 सैकण्ड। रचना - मूल बांग्ला भाषा में
  • राष्ट्रीय गीत - बंकिम चन्द चटर्जी
  • यह मुलतः संस्कृत भाषा में है तथा आनन्द मठ से लिया गया था।
➦ भारत के संविधान संशोधन Constitution of India amendment

भारतीय संविधान सबसे बड़ा लिखित संविधान

  • भारत का संविधान दुनिया का सबसे बड़ा लिखित संविधान है। इसी आधार पर भारत को दुनिया का सबसे बड़ा गणतंत्र कहा जाता है। 
  • भारतीय संविधान में 395 अनुच्छेद, तथा 12 अनुसूचियां हैं और ये 22 भागों में विभाजित है। 
  • यह 2 साल 11 महीने 18 दिन में बनकर तैयार हुआ था। 
  • जनवरी 1948 में संविधान का पहला प्रारूप चर्चा के लिए प्रस्तुत किया गया। 
  • 4 नवंबर 1948 से शुरू हुई यह चर्चा तकरीबन 32 दिनों तक चली थी। इस अवधि के दौरान 7,635 संशोधन प्रस्तावित किए गए जिनमें से 2,473 पर विस्तार से चर्चा हुई।


 भारतीय संविधान 26 जनवरी को हुआ लागू

  • 26 नवंबर 1949 को लागू होने के बाद संविधान सभा के 284 सदस्यों मे 24 जनवरी 1950 को संविधान पर हस्ताक्षर किए। इसके बाद 26 जनवरी को इसे लागू कर दिया गया। 
  • बताते हैं कि जिस दिन संविधान पर हस्ताक्षर हो रहे थे उस दिन खूब जोर की बारिश हो रही थी। इसे शुभ संकेत के तौर पर माना गया।
➦ भारत के नीति निर्देशक तत्व | Policy Principles of India 

 भारतीय संविधान मूल प्रति को पेन से लिखी गई

  • भारतीय संविधान की मूल प्रति हिंदी और अंग्रेजी दोनों में ही हस्तलिखित थी। 
  • इसमें टाइपिंग या प्रिंट का इस्तेमाल नहीं किया गया था। दोनों ही भाषाओं में संविधान की मूल प्रति को प्रेम बिहारी नारायण रायजादा ने लिखा था। 
  • रायजादा का खानदानी पेशा कैलिग्राफी का था। उन्होंने नंबर 303 के 254 पेन होल्डर निब का इस्तेमाल कर संविधान के हर पेज को बेहद खूबसूरत इटैलिक लिखावट में लिखा है। 
  • इसे लिखने में उन्हें 6 महीने लगे थे। जब उनसे मेहनताना पूछा गया था तो उन्होंने कुछ भी लेने से इनकार कर दिया था। 
  • उन्होंने सिर्फ एक शर्त रखी कि संविधान के हर पृष्ठ पर वह अपना नाम लिखेंगे और अंतिम पेज पर अपने नाम के साथ अपने दादा का भी नाम लिखेंगे।

भारतीय संविधान की मूल प्रति को हीलियम से भरे गैस में रखी गई

  • भारतीय संविधान के हर पेज को चित्रों से आचार्य नंदलाल बोस ने सजाया है। 
  • इसके अलावा इसके प्रस्तावना पेज को सजाने का काम राममनोहर सिन्हा ने किया है। वह नंदलाल बोस के ही शिष्य थे। 
  • संविधान की मूल प्रति भारतीय संसद की लाइब्रेरी में हीलियम से भरे केस में रखी गई है।

नोट - इस पेज पर आगे और भी जानकारियां अपडेट की जायेगी, उपरोक्त जानकारियों के संकलन में पर्याप्त सावधानी रखी गयी है फिर भी किसी प्रकार की त्रुटि अथवा संदेह की स्थिति में स्वयं किताबों में खोजें तथा फ़ीडबैक/कमेंट के माध्यम से हमें भी सूचित करें।


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